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कवियों के काव्य से सिहोरा जिला आंदोलन में आई नई धार शनिवार तक चर्चा न हुई तो तीव्र आंदोलन की घोषणा

कवियों ने काव्य से सिहोरा जिला आंदोलन में आई नई धार शनिवार तक चर्चा न हुई तो तीव्र आंदोलन की घोषणा

द न्यूज 9 डेस्क।जबलपुर।सिहोरा। सिहोरा जिला के आंदोलन में धार लाने के लिए सिहोरा तहसील के कवियों ने मोर्चा संभाला और गुरुवार को बस स्टैंड में चल रहे धरने में आसपास के एक दर्जन कवियों ने सिहोरा के इतिहास की गरिमा, उसके विखंडन और वर्तमान त्रासदी को अपने काव्य में पिरोते हुए सरकार की निद्रा को तोड़ने का भरसक प्रयास किया
गुरुवार को धरने का दृश्य अनुपम रहा जहां रोज होने वाली भाषणों और नारो को छोड़कर काव्य की पंक्तियों ने आसपास के वातावरण को अपनी ओर आकर्षित किया। लगभग सभी कवियों ने अपने काव्य के माध्यम से सिहोरा को जिला बनाए जाने के संघर्ष को आवश्यक बताते हुए ऐसा संदेश दिया कि एक दिन सभी का संघर्ष जरुर रंग लाएगा और हम सभी सिहोरा जिला के वासी होंगे

इन कवियों ने समा बांधा –

सिहोरा से अश्विनी पाठक, कछारगांव से विजय बागरी, सिलोंडी से सुशील जैन,सिहोरा से डा अरुणा पांडे,आशा जैन,जबलपुर से अखिलेश खरे, फनवानी से लक्ष्मी नारायण पटेल, खभरा से सुशील वर्मा, बघराजी से मदनलाल बागरी ने भावपूर्ण और ओजस्वी काव्यपाठ किया।

 सत्याग्रह भी जारी
सिहोरा जिला बना के आंदोलन में आरएसएस के पूर्व प्रचारक प्रमोद साहू अपने निज निवास पर अन्य सत्याग्रह पर रहे और धरना स्थल पर अनिल जैन,श्यामलाल साहू,राजेंद्र गर्ग,गजेंद्र खंपरिया,विनय परिहार अन्न सत्याग्रह पर रहे।

समिति ने कहा कि शनिवार शाम तक मुख्यमंत्री से चर्चा न होने पर पत्रकार वार्ता आयोजित कर आंदोलन के आगामी चरण की घोषणा की जाएगी

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